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RAIPUR BREAKING : राजधानी पहुंचे रमेश बैस, इस वजह से लगाएं जा रहे उपचुनाव लड़ने के कयास ..

RAIPUR BREAKING: Ramesh Bais reached the capital, due to this there are speculations about contesting the by-elections..

रायपुर। रमेश बैस रायपुर के लगातार 7 बार सांसद रह चुके है, अब वर्तमान में उनकी जगह कद्दावर नेता बृजमोहन अग्रवाल संसद जा चुके है, जिससे राजधानी में रायपुर दक्षिण की सीट खली हो चुकी है, जिस पर उपचुनाव होना है। महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल रहे रमेश बैस मंगलवार को छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर लौट चुके हैं। एयरपोर्ट पर पहुंचते ही उन्होंने कहा कि, 5 सालों में तीन राज्यों का राज्यपाल रहा हूँ। मुझे खुशी है कि, मेरा पूरा कार्यकाल बेदाग रहा और एक भी आरोप नहीं लगा। यही राज्यपाल के रूप में मेरी सबसे बड़ी उपलब्धि रही है।

सक्रिय राजनीति में उतरने को लेकर सवाल पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि, सक्रिय राजनीति में उतरूंगा या नहीं इसका फैसला पार्टी करेगी। मैं पार्टी का कार्यकर्ता हूं और जो आदेश होगा, वहीं काम करूंगा। कांग्रेस नेता राहुल गांधी के चक्रव्यूह वाले बयान पर उन्होंने कहा कि, राहुल पहले महाभारत तो पढ़ लें उसके बाद ऐसा कोई बयान दें। उन्होंने आगे कहा कि, पार्टी ने मुझे काफी कुछ दिया है और मैं काफी सौभाग्यशाली हूं कि, पार्टी ने मुझे इतना अवसर दिया है। कई कार्यकर्ता अपना जीवन खपा देते हैं। लेकिन उन्हें अवसर नहीं मिल पाता है।

नरेंद्र मोदी की सरकार में शुरु हुई दूसरी पारी –

नरेंद्र मोदी सरकार की केंद्र में दूसरी पारी शुरू होने के साथ ही रमेश बैस के राजनीति की दूसरी पारी की शुरुआत हुई थी। रमेश बैस को 2019 में त्रिपुरा का राज्यपाल बनाया गया था, जहां रमेश बैस ने दो साल बिताया। जुलाई 2021 में बैस को झारखंड का राज्यपाल बनाया गया। वहां झामुमो गठबंधन की सरकार में बैस की भूमिका ने कई टकराव और विवाद भी हुए थे। वर्तमान में रमेश बैस को महाराष्ट्र के राज्यपाल के पद से हटाया गया है।

क्या रायपुर दक्षिण का चनाव लड़ेंगे रमेश बैस –

राजनैतिक जानकारों के अनुसार जिस तरह से भारतीय जनता पार्टी की परिपाटी रही है कि वह वरिष्ठ नेताओं से किनारे करके युवाओं को मौका दिया जा रहा है। ठीक उसी परिपाटी में रमेश बैस को किनारे किया गया है। राजनीति के जानकार एवं वरिष्ठ पत्रकार उचित शर्मा ने कहा कि छत्तीसगढ़ के वर्तमान में सबसे सीनियर भाजपा नेता रमेश बैस हैं। वह विधायक, मंत्री, सांसद रह चुके हैं। कई राज्य में राज्यपाल भी रह चुके हैं। वो काफी उम्र दराज भी हो चुके हैं, उनकी लगभग 77 वर्ष की आयु है। जितने भी सीनियर हैं अब उनसे भाजपा एक तरह से किनारा कर रही है। इससे यही स्पष्ट होता है कि रमेश बैस को उपचुनाव में नहीं उतारा जायेगा। आपको बता दें कि रमेश बैस पहली बार 1978 में रायपुर नगर निगम के लिए चुने गए थे।

 

 

 

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