मल्लिकार्जुन खड़गे का दौरा सिर्फ ड्रामा! गृहमंत्री बोले – सनातन का अपमान करने वाले का छत्तीसगढ़ में स्वागत नहीं

छत्तीसगढ़. छत्तीसगढ़ के गृहमंत्री विजय शर्मा ने कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के संभावित प्रदेश दौरे पर तीखी प्रतिक्रिया दी है. गृहमंत्री ने निशाना साधते हुए कहा कि खड़गे का यह दौरा महज एक राजनीतिक औपचारिकता भर है, जिससे राज्य को कोई भी व्यावहारिक लाभ नहीं होने वाला है.
हिंदू संस्कृति का करते हैं अपमान
उन्होंने कहा, “खड़गे जी जिस प्रकार से बार-बार सनातन परंपराओं और हिंदू संस्कृति का अपमान करते हैं, वह न केवल निंदनीय है बल्कि भारतीय समाज की आस्था के प्रति उनकी सोच को दर्शाता है. ऐसे नेता जिनकी विचारधारा सनातन मूल्यों के विरोध में है, उनका छत्तीसगढ़ की धरती पर कोई स्वागत नहीं किया जाएगा.
उन्होंने कहा, “खड़गे जी जिस प्रकार से बार-बार सनातन परंपराओं और हिंदू संस्कृति का अपमान करते हैं, वह न केवल निंदनीय है बल्कि भारतीय समाज की आस्था के प्रति उनकी सोच को दर्शाता है. ऐसे नेता जिनकी विचारधारा सनातन मूल्यों के विरोध में है, उनका छत्तीसगढ़ की धरती पर कोई स्वागत नहीं किया जाएगा.
”छत्तीसगढ़ की धरती पर कोई स्वागत नहीं
गृहमंत्री ने आगे कहा कि कांग्रेस की राजनीति अब केवल विभाजन और आस्था के अपमान के आधार पर चल रही है. “जिस प्रकार से मल्लिकार्जुन खड़गे सनातन परंपराओं को नीचा दिखाने वाले वक्तव्य देते हैं, उससे यह स्पष्ट होता है कि उनकी पार्टी की प्राथमिकता न तो जनता की भलाई है और न ही सांस्कृतिक एकता,” उन्होंने कहा.
गृहमंत्री ने आगे कहा कि कांग्रेस की राजनीति अब केवल विभाजन और आस्था के अपमान के आधार पर चल रही है. “जिस प्रकार से मल्लिकार्जुन खड़गे सनातन परंपराओं को नीचा दिखाने वाले वक्तव्य देते हैं, उससे यह स्पष्ट होता है कि उनकी पार्टी की प्राथमिकता न तो जनता की भलाई है और न ही सांस्कृतिक एकता,” उन्होंने कहा.
शर्मा ने खड़गे की आलोचना करते हुए यह भी जोड़ा कि “सिर्फ भाषणों और रैलियों से कोई विकास नहीं होता. छत्तीसगढ़ की जनता अब जागरूक है और जानती है कि किसने वास्तव में काम किया है और कौन सिर्फ भाषणबाजी करता है. खड़गे जी का आना न कोई उम्मीद लेकर आता है और न ही कोई समाधान.” उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान राज्य सरकार पूरी तरह कानून-व्यवस्था, विकास, सुरक्षा और सांस्कृतिक मूल्यों को प्राथमिकता दे रही है, और जनता अब भावनात्मक राजनीति नहीं, बल्कि परिणाम चाहती है.
गृहमंत्री ने अंत में कहा, “हमारा देश और प्रदेश सनातन संस्कृति की जड़ों से जुड़ा हुआ है. कोई भी नेता चाहे वह कितने भी बड़े पद पर क्यों न हो, अगर वह इस संस्कृति का अपमान करता है, तो जनता उसे नकार देगी. छत्तीसगढ़ की जनता खड़गे जी की विचारधारा को जानती है और उसी के आधार पर उन्हें जवाब भी देगी.” यह बयान राजनीतिक गलियारों में गर्म चर्चा का विषय बन गया है और खड़गे के दौरे पर अब सबकी निगाहें टिक गई हैं.