CG LIQUOR SCAM CASE: Suspended IAS officer Anil Tuteja did not get relief
रायपुर। छत्तीसगढ़ शराब घोटाला मामले में निलंबित आईएएस अफसर अनिल टूटेजा को राहत नहीं मिली है। विशेष कोर्ट ने अनिल टुटेजा का जमानत याचिका को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुने। इसके बाद कोर्ट ने ईओडब्ल्यू के पक्ष में फैसला सुनाते हुए न्यायिक रिमांड पर जेल भेज दिया है। मामले की सुनवाई विशेष न्यायाधीश निधि शर्मा तिवारी की कोर्ट में हुई है।
विशेष न्यायालय में ईओडब्ल्यू की ओर से कोर्ट में पेश हुए डॉ. सौरभ कुमार पांडेय ने कहा कि शराब घोटाला केस के मुख्य आरोपी निलंबित आईएएस अफसर अनिल टूटेजा को जमानत दिया गया, तो वे फरार हो जाएंगे। टुटेजा की ओर से याचिका में उनके स्वास्थ्य को देखते हुए जमानत की मांग की गई। जमानत याचिका में दावा किया गया था कि वे निर्दोष हैं और उन्हें झूठे आरोपों में फंसाया गया है। उन्होंने ये भी बताया कि ईओडब्ल्यू ने प्रताड़ित करने के लिए 14 दिन की रिमांड पर लिया। अब तक जांच के दौरान उनके पास से शराब की बोतल और नकली होलोग्राम तक बरामद नहीं हुआ है।
टूटेजा की याचिका में यह भी कहा गया कि जमानत मिलने पर वे फरार नहीं होंगे। टूटेजा के वकीलों ने अदालत में यह भी उल्लेख किया कि उत्तर प्रदेश में इसी आधार पर दर्ज की गई एफआईआर को कोर्ट ने स्थगित कर दिया था और ‘नो कार्सिव स्टेप्स’ का आदेश दिया था, इसलिए अनिल टूटेजा को जमानत दी जाये।
दूसरी ओर ईओडब्ल्यू के वकील डॉ. सौरभ कुमार पांडेय ने जमानत याचिका का विरोध किया है। उन्होंने बताया कि शराब घोटाला केस में निलंबित आईएएस अफसर अनिल टूटेजा मुख्य आरोपी हैं। अगर उन्हें जमानत दिया जाएगा तो जांच प्रभावित हो सकती है। वे फरार हो सकते हैं। इसलिए अनिल टूटेजा का जमानत याचिका खारिज की जाए।