रायपुर। राजधानी में आयोजित धर्म संसद में महाराष्ट्र के संत कालीचरण के भाषण से बवाल हो गया। मामला इस कदर बिगड़ा की बात एफआईआर करवाने तक पहुंच गई पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा कि गांधी का अपमान देश का अपमान है, हम इसलिए केस दर्ज करवा रहे हैं। रविवार देर रात सिविल लाइंस थाने में जाकर मोहन मरकाम समेत दो दर्जन कांग्रेसियों ने आवेदन दिया। नगर निगम सभापति प्रमोद दुबे के आवेदन के आधार पर टिकरापारा थाने में अपराध क्रमांक 578-2021धारा505(2),294 आईपीसी के तहत अपराध दर्ज किया गया है।
संत कालीचरण को आईपीसी की गैर जमानती धारा 505 (2) सार्वजनिक शांति भंग करने के मकसद से कुछ आपत्तिजनक कहना, अलग-अलग समुदायों के प्रति नफरत पैदा करना और धारा 294 अश्लील गाली गलौज करना, के तहत आरोपी बनाया गया है। इनके खिलाफ रायपुर में एफआईआर दर्ज कर ली गई है। सिविल लाइंस टीआई विरेंद्र चर्तुवेदी ने बताया कि इस मामले में नियमानुसार कार्रवाई करेंगे, मोहन मरकाम की तरफ से मिली शिकायत को थाने में भेज दिया गया है। खबर है कि शाम को कार्यक्रम में बयान देने के फौरन बाद कालीचरण महाराष्ट्र के लिए रवाना हो चुके हैं।
रविवार को रायपुर में दो दिनों तक चली धर्म संसद का समापन कार्यक्रम था। रावणभाटा मैदान में आयोजित इस कार्यक्रम में धर्म-हिदुत्व पर अपनी बात रखते हुए कालीचरण ने महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोंडसे को नमस्कार करते हुए,गांधी के खिलाफ अपशब्द कहे और बवाल मच गया। महंत रामसुंदर दास ने तत्काल विरोध दर्ज कराया और आयोजकों को अपना नाम उपयोग करने के लिए जमकर फटकार लगाई। इसके बाद कांग्रेसियों ने विरोध करना शुरू कर दिया। शहर में भी इस बात को लेकर तीखी प्रतिक्रिया आई। लोग नाराज हो उठे। लेकिन संत कालीचरण तब तक छत्तीसगढ़ छोड़ चुके थे।