AAJ KA MAUSAM : बस्तर और दुर्ग संभाग में मानसून ने दी दस्तक, गर्मी पड़ी है जोरदार, एक्सपर्ट ने बताया कैसा रहेगा बरसात में हाल

Monsoon has knocked in Bastar and Durg divisions, the heat is strong, expert told how it will be in the rainy season
रायपुर। छत्तीसगढ़ में मानसून ने दस्तक दे दी है। कल ही बस्तर मानसून पहुंच चुका था, जिसके बाद आज मानसून बढ़ते हुए राजनांदगांव और दुर्ग तक पहुंच गया है। इन इलाकों में रूक-रूककर जोरदार बारिश हो रही है। हालांकि कल भी प्री मानसून को लेकर राजनांदगांव, दुर्ग और रायपुर के कुछ हिस्सों में बारिश हुई थी। इससे पहले मानसून के पहले बस्तर में भी खूब बारिश हुई थी। मौसम विभाग के मुातबिक दक्षिण पश्चिम दिशा से मानसून पहुंचा है। फिलहाल बस्तर और दुर्ग संभाग में मानसून पूरी तरह से सक्रिया हो चुका है। प्रदेश के प्रदेश में कोरिया और बालोद में कल भी जोरदार बारिश हुई थी। इस दौरान कोरिया में आकाशीय बिजली गिरने से एक बच्ची सहित 2 बच्चों की मौत हो गई। दोनों बच्चे घर के बाहर ही खेल रहे थे। वहीं बालोद में पेड़ के नीचे खड़ी 28 बकरियां मर गई थी।
आपको बता दें कि छत्तीसगढ़ में इस बार जबरदस्त गरमी पड़ी है। गरमी से त्राहिमाम के बीच लोग बेसब्री से मानसून का इंताजर कर रहे थे। आज जिस तरह से मानसून प्रदेश के दो संभागों को सक्रिय हो गया है, माना जा रहा है कि कल तक रायपुर संभाग के भी अलग-अलग हिस्सों में बारिश होगी। स्काईमेट वेदर वेबसाइट ने भी छत्तीसगढ़ के कुछ हिस्सोंं में जोरदार बारिश की चेतावनी दी है। ओडिशा, छत्तीसगढ़ के कुछ हिस्सों, पूर्वी मध्य प्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक, लक्षद्वीप लक्ष्यदीप में हल्की से मध्यम बारिश के साथ कुछ स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है और केरल में हल्की से मध्यम बारिश के साथ एक दो स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है।
स्काईमेट के मुताबिक मानसून की शुरुआत का दूसरा चरण 16 से 25 जून के बीच होता है। चरण -1 के विपरीत, जहां मानसून उत्तरपूर्वी भागों के साथ प्रायद्वीपीय भारत में दक्षिण से उत्तर की ओर जाता है, दूसरा चरण पूर्व से पश्चिम की ओर बड़े पैमाने पर पूर्वी भारत और मध्य भागों को कवर करता है। इस चरण के दौरान बंगाल की खाड़ी (BoB) शाखा अरब सागर की पश्चिमी शाखा की तुलना में अधिक सक्रिय है। जबकि BoB पूरे पश्चिम बंगाल, ओडिशा, बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, पूर्वी उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश और लद्दाख के बड़े हिस्से को कवर करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, अरब सागर की शाखा दक्षिण गुजरात से सौराष्ट्र (छोड़कर धीरे-धीरे चलती है) कच्छ) और दक्षिण राजस्थान को ब्रश करता है।