वाराणसी : बाबा शिव की नगरी में स्थित श्री काशी विश्वनाथ मंदिर (Kashi Vishwanath Temple) में अब सुरक्षाकर्मी (Policeman) खड़ाऊं पहनकर ड्यूटी करते नजर आएंगे. ठंड को देख मंदिर प्रशासन ने फैसला लिया है. इसी कड़ी में शुक्रवार को सुरक्षाकर्मियों में खड़ाऊं का वितरण कराया. मंदिर परिक्षेत्र में ड्यूटी करने वाले सुरक्षाकर्मियों के लिए 180 खड़ाऊं मंगाए गए हैं. वहीं, अब कोई भी श्रद्धालु मंदिर परिसर में जूता-चप्पल पहनकर नहीं जा सकेगा. श्री काशी विश्वनाथ धाम में बाबा के गर्भगृह में ड्यूटी करने वाले पुलिसकर्मियों के लिए मंदिर प्रशासन ने खड़ाऊं के इंतजाम करवाए हैं. पुलिस के लिए जूता-चप्पल रखने का इंतजाम मंदिर के बाहर किया गया है.
इसके साथ ही ठंड को देख भक्तों की सहूलियत के लिए मंदिर परिसर के चारों ओर मैट बिछाया गया है. इन व्यवस्थाओं के अलावा नए साल से भक्तों का डाटा भी मंदिर प्रशासन तैयार करेगा. इसके लिए मशीनें लगाई जा रही हैं. नए साल से भक्त कॉरिडोर क्षेत्र में भी घूम सकेंगे और अन्नक्षेत्र तथा अन्य व्यवस्थाओं का भी लाभ उन्हें मिलेगा. इससे पहले इस महीने पीएम मोदी ने काशी आकर 13 दिसंबर को श्रीकाशी विश्वनाथ धाम का लोकार्पण किया था. यही नहीं, भाजपा शासित राज्यों के सीएम और डिप्टी सीएम के साथ क्रूज पर बैठकर गंगा आरती देखते हुए अगले दिन सम्मेलन में भी हिस्सा लिया था.
बता दें कि पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र में उनके निर्देश पर कैंट स्टेशन से गोदौलिया तक रोपवे बनेगा, जिससे बाबा के श्रद्धालु आसानी से बाबा के दरबार और गंगा घाट तक पहुंच सकेंगे. काशी में पब्लिक ट्रांसपोर्ट के लिए रोपवे का काम नए साल की शुरुआत में शुरू होगा. अब आप आसमान से काशी दर्शन कर सकते हैं. पहले चरण में कैंट स्टेशन से गोदौलिया तक रोपवे बनेगा. लापाज और मैक्सिको के बाद काशी दुनिया का तीसरा ऐसा शहर होगा, जहां रोपवे को लोग रोज़ाना की आवाजाही के लिए इस्तेमाल कर सकेंगे.